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जिला अस्पताल में डॉक्टरों की लापरवाही से गई मरीज की जान…

प्रदेश सरकार द्वारा स्वास्थ्य के क्षेत्र में दी जा रही सुविधाओं के दावे तो बड़े बड़े किए जाते है लेकिन अलवर जिले के राजीव गांधी सामान्य चिकित्सालय में इन दावों की पोल खोलती यह खबर आपके सामने है , जबकि इस अस्पताल सिर्फ अलवर ही नहीं आसपास के जिलों से मरीज इलाज के लिए यहां आते है लेकिन यहां डॉक्टर्स को किसी की जान तक की परवाह नही , हाल ही में एक ऐसा ही मामला सामने आया है जब रविवार रात करीब दस बजे एक बुजुर्ग मरीज को परिजन लेकर पहुंचे तो ट्रॉमा सेंटर पर स्ट्रेचर मरीज डेढ़ घंटे तक तड़पता रहा , परिजन ऑक्सीजन लगाने की गुहार लगाते रहे लेकिन वहां मौजूद डॉक्टर्स और कर्मचारियों ने कोई मदद नहीं की बल्कि उन्हें जयपुर ले जाने की सलाह देते रहे आखिर देखते ही देखते मरीज ने कुछ देर बाद दम तोड दिया ।

ये है अलवर जिले का राजीव गांधी सामान्य चिकत्सालय जहां रोजाना की ओपीडी हजारों में की ओपीडी है ,लेकिन अस्पताल में अव्यवस्थाओं का अंबार लगा है यहां साफ सफाई का अभाव , अनेकों जांच के लिए मरीजों को बाहर जाना पड़ता है यहां तक कि मरीज को स्ट्रेचर पर खुद परिजन ही लेकर आते नजर आते है ।

दरअसल यह अस्पताल मरीजों का क्या इलाज करता होगा जो खुद बीमार नजर आ रहा है जरा यहां के शौचालय के भी हालात देख लीजिए जहा अंदर घुसने से भी सोचना पड़ता है ,बदबू से सड़ रहे बाथरूम में टुंटिया तक टूटी पड़ी है किसी को कोई परवाह तक नही है ।

अब आपको रात की घटना भी बताते है की डॉक्टर्स और कर्मचारियों की लापरवाही से किस तरह एक मरीज ने तड़प तड़प कर दम तोड दिया , दरअसल रविवार रात को करीब दस बजे अलवर के सदर थाना क्षेत्र के घटला निवासी किशनलाल नामक बुजुर्ग को उनका बेटा लेकर पहुंचा जिसे फेफड़ों की परेशानी थी और सांस लेने में दिक्कत आ रही थी , उनका बेटा सीताराम उन्हे लेकर अस्पताल पहुंचा था , मरीज को सांस लेने में दिक्कत आ रही थी , सीताराम वहां मौजूद नर्सिंग कर्मचारियों से ऑक्सीजन लगाने के लिए मिन्नते करता रहा किसी ने नहीं सुनी , बल्कि उन्हें जयपुर ले जाने की सलाह देते रहे , मरीज डेढ़ घंटे तक स्ट्रेचर पर तड़पता रहा लेकिन किसी ने ऑक्सीजन लगाने की जहमत नहीं उठाई आखिर मरीज ने दम तोड दिया , होने को यहां रेजिडेंट डॉक्टर रात में सहायक के रूप में काम करते है लेकिन ऐसे गंभीर केस में कोई सीनियर मरीज का होना भी जरूरी है ताकि किसी की जान के साथ खिलवाड़ न हो , इस मामले कार्यवाहक पीएमओ तेजेंद्र मालिक से जब जानकारी ली तो उन्होंने कहा यह मामला जानकारी में आया है इसकी जांच करने के बाद ही बता पाएंगे आखिर किसकी गलती रही ।

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