पूर्व में भी कांग्रेस ने जनहित को सर्वोपरि रखकर सदन को चलाने में सहयोग का दिया था आश्वासन, लेकिन सरकार की हठधर्मिता बनी गतिरोध का कारण।
जयपुर, 17 फरवरी
राजस्थान विधान सभा के नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने सर्वदलीय बैठक के बाद बयान जारी कर बताया कि कांग्रेस ने हमेशा जनहित को दलहित से ऊपर रखा है। उन्होंने कहा कि विधान सभा सत्र शुरू होने से पहले भी हमने बैठक में कांग्रेस का रूख स्पष्ट करते हुए कहा था कि जनहित को देखते हुए सदन को चलाने में सरकार का पूर्ण सहयोग करेंगे और राज्यपाल महोदय के अभिभाषण के दौरान कांग्रेस विधायक दल ने सकरात्मक रूख अख्त्यिर करते हुए अभिभाषण के दौरान किसी प्रकार का व्यवधान उत्पन्न नहीं किया, लेकिन यह दुखद रहा कि सरकार पक्ष के कुछ मंत्री और सदस्य खुद व्यवधान का कारण बनते रहे।
प्रतिपक्ष के नेता टीकाराम जूली ने बताया कि प्रदेश में सरकार के काबीना मंत्री द्वारा सरकार पर उनके फोन टैपिंग जैसे गम्भीर विषय पर सदन के माध्यम से सरकार का ध्यान आकर्षित करते हुए इस विषय पर सरकार द्वारा जवाब दिये जाने के लिये आसन के माध्यम से कई बार निवेदन किये जाने के उपरांत भी सरकार ने हठधर्मिता को अपनाते हुए प्रतिपक्ष की आवाज को संख्या और सत्ता बल पर दबाने का प्रयास किया। उन्होंने कहा कि सरकार के कुछ मंत्री यह नहीं चाहते थे कि मुख्यमंत्री का जवाब निर्विध्न हो ताकि नेता प्रतिपक्ष को भी नहीं बोलने दिया।
प्रतिपक्ष के नेता जूली ने बताया कि सदन में पैदा किया गतिरोध सरकार की सोची-समझी साजिश का हिस्सा था। उन्होंने कहा कि सदन को चलाने की जिम्मेदारी सरकार की होती है और प्रतिपक्ष सदन को चलाने में सहयोग कर रहा हो तो सरकार को गतिरोध को तोडने के लिये गम्भीरतापूर्वक सकारात्मक प्रयास करने चाहिए थे, लेकिन सरकार तो स्वयं गतिरोध पैदा करना चाहती थी, तभी सरकार के गृह राज्य मंत्री मीडिया के सामने आकर तो अपना पक्ष रखते हैं, लेकिन सदन में बयान नहीं देते। जूली ने कहा कि गृह राज्य मंत्री ने जो मीडिया में कहा, यदि वही बात सदन में कही गई होती तो विपक्ष भी अपनी आवाज को सदन में रख पाता, लेकिन सरकार ने संख्याबल के आधार पर प्रतिपक्ष की आवाज को कमजोर करने का काम किया, ताकि सरकार की विफलताओं पर पर्दा पडा रहे और नेता प्रतिपक्ष के माध्यम से गरीब की आवाज को सदन के माध्यम से सरकार तक नहीं पहुंचने दिया जाए।
प्रतिपक्ष के नेता टीकाराम जूली ने कहा कि बजट प्रदेश की 8 करोड़ जनता से जुडा हुआ विषय है और कांग्रेस पार्टी ने सदैव प्रदेश के हित को दल के हित से ऊपर रखते हुए निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि सदन में आगे गतिरोध का रूख सरकार के रवैये पर निर्भर करता है। यदि सरकार गतिरोध को समाप्त करने की दिशा में सकारात्मक प्रयास करेगी और फोन टैपिंग के गम्भीर मुद्दे पर आसन द्वारा चर्चा कराये जाने के लिये व्यवस्था दी जाएगी तो कांग्रेस विधायक दल भी प्रदेश हित में सरकार का पूर्ण सहयोग करने की दिशा में अपनी नीति निर्धारित करेगा।